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वर्ष 2015- 016 में हुवा था रामगजमंडी - नीमच रेल्वे लाईन का सर्वे, करीब 7 वर्ष बित चुके है ट्रेन के इंतजार में, सांसद गुप्ता ने नहीं दिखाई मामले में कोई रूचि

Neemuchhulchal नीमच / मंदसौर संजय व्यास मनासा रामगज मंडी - नीमच रेल्वे परियोजना को लेकर विगत कई वर्षो से नीमच और मंदसौर जिले के नीमच, मनासा, रामपुरा, गांधीसागर, भानपुरा, एवं राजस्थान के कोटा शहर की जनता इसी इंतजार में है की आखिर कब भारत सरकार इस परियोजना को मंजूरी देगी, ताकि क्षेत्र की जनता को सुविधा मिल सके और इसके ओद्योगिक विकास की नई राह खुल सके.! सन 1998 से प्रयास रत है भानपुरा के श्री चोरडिया, ...जब इस मामले की तह तक जाने का प्रयास किया तो पता चला की, भानपुरा निवासी श्री नवल जी चोरडिया विगत कई वर्षो से इस रेल्वे परियोजना को लेकर निरंतर प्रयत्नरत है, और इसी सन्दर्भ में उन्होंने पूर्व रेल्वे मंत्री नितीश कुमार, को भी पत्र लिखा था की शीघ्र ही रामगज मंडी - नीमच रेल्वे परियोजना का सर्वे करवाकर इसे स्वीकृति देवे, उसके बाद भाजपा के वरिष्ठ नेता, और पूर्व राज्य सभा सदस्य आदरणीय रघुनन्दन जी शर्मा द्वारा वर्ष 2012 में इस मुद्दे को राज्य सभा में उठाया गया था जिसका प्रश्न नंबर, 2322 था, इसका जवाब रेल्वे मंत्रालय द्वारा दिनांक 31/8/012 को दिया गया था जिसमे नीतिगत सहमति जतायी गयी थी.! उसके बाद 27 फरवरी 2020 को इस मामले को फिर से एक बार, लोकसभा अध्यक्ष, माननीय ओम जी बिरला द्वारा सदन में रखा गया, जिस पर दिनांक 20 नंबर 2020 को रेल्वे बोर्ड से जवाब आया की इस परियोजना का संचालन आर्थिक रूप से ठीक ना होने के चलते मांग को अस्वीकृत किया गया गुप्ता जी ने नहीं उठाई रामगज मंडी - नीमच की मांग, मंदसौर - सीतामऊ के लिए कर रहे प्रयास,* ...वहीं इस मामले में जो जानकारी मिली है, उसमे मंदसौर - नीमच क्षेत्र के क्षेत्रीय सांसद गुप्ता जी की निष्क्रियता स्पष्ट रूप से सामने आयी है, यदि वो चाहते तो ये परियोजना आसानी से धरातल पर आ जाती, उसका कारण स्पष्ट है की, रेल्वे परियोजना चाहे कौन सी भी हो, वो यात्रियों के भरोसे तो नुकसान में ही रहती है, लेकिन ठीक इसके विपरीत रेल्वे बोर्ड उस क्षेत्र से प्राप्त होने वाले औद्योगिक किराये को प्राथमिकता देता है.! और रामगज मंडी से नीमच के इस रूट पर ओद्योगिक रूप से कितना किराया प्राप्त हो सकता है, ये क्षेत्रीय सांसद से बेहतर सदन में कौन बात सकता है.! लेकिन उनका ध्यान तो पूरी तरह, मंदसौर से सीतामऊ प्रोजेक्ट पर है नीमच - मनासा - भानपुरा विधायक करे पहल, ज्ञात हो की भानपुरा के पूर्व विधायक देवीलाल जी धाकड़ निरंतर प्रयन्त रत है, ज्ञात हो की अब यदि इस परियोजन को लेकर, नीमच मनासा और भानपुरा के विधायकों को प्रयास करके अपने क्षेत्र को ये सौगात दिलवाना चाहिए, भानपुरा के पूर्व विधायक देवीलाल जी धाकड़ विगत कई समय से इसके लिए प्रयत्नरत है, और इसको लेकर उन्होंने भारत सरकार के रेल्वे मंत्री अश्विनी कुमार जी वैषणव को पत्र भी लिखा, जिसमे स्पष्ट रूप से अंकित किया की, आर्थिक रूप से भी इस परियोजना को लेकर रेल्वे को कोई नुकसान नहीं होगा, क्यों की इस क्षेत्र में सीमेंट उद्योग के कार्य में आने वाला खनिज है जो वर्त्तमान में टेंकरो और ट्रको के माध्यम से जाता है, यदि रेल्वे लाईन आती है, तो दुर्घटना पर भी अंकुश लगेगा और आम जनता को भी लाभ होगा.! अंतिम विकल्प जनता को करना होगा आंदोलन, ...यदि इस परियोजना को भारत सरकार मंजूरी नहीं देती है, तो नीमच से लेकर भानपुरा / गरोठ क्षेत्र तक की जनता को आंदोलन करना होगा, आंदोलन विभिन्न चरणों में होगा, जिसमें जागरूकता अभियान, हस्ताक्षर अभियान, पत्र अभियान, ज्ञापन देना, धरना देना, रैली निकालना, आदि सब कुछ शामिल होगा, लेकिन इस बार जनता मन बना चुकी है, इस योजना को स्वीकृत करवाना ही है, जब जब जिम्मेदार अपनी जिम्मेदारी से मुकरेंगे जनता उन्हें, अपनी जिम्मेदारी का अहसास करवा देगी.!

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