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स्वास्थ्य केंद्र में कब आएंगे डॉ. और वापिस से कब जाएंगे किसी को नहीं पता, झोला छाप डॉक्टर से इलाज करवाने को मजबूत

निंबाहेड़ा उपखंड क्षेत्र के गांवा अरनिया जोशी में स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने के लिए उप स्वास्थ्य केंद्र तो खोला गए हैं। लेकिन इस स्वास्थ्य सुविधाओं का लाभ लोगों को नहीं मिल पा रहा है। ऐसे में लोगों को इलाज के लिए जिला अस्पताल निंबाहेड़ा में आना पड़ रहा है। ग्रामीण क्षेत्र में स्वास्थ्य केंद्र उपलब्ध होने के बावजूद भी लोगों को परेशान होकर के शहर की ओर या फिर निजी अस्पतालों में उनका इलाज करवाने के लिए मजबूर है ! जब भी कोई व्यक्ति मौसमी बीमारी हो या फिर किसी अन्य बीमारी के लिए वह उप स्वास्थ्य केंद्र पर पहुंचते हैं तो उनको वहां से निराशा ही प्राप्त होती है जिससे वे निंबाहेड़ा जिला चिकित्सालय या फिर किसी निजी अस्पताल में उनका उपचार करवाने के लिए चले जाते हे या फिर गांव में ही झोलाछाप डॉक्टरों के पास जाने के लिए मजबूर हो जाते हैं! ग्रामीणों को कहना है कि आधे से ज्यादा समय में हॉस्पिटल रहता है बंद हाजरी भर कर के कब गायब हो जाएंगे उसका किसी को भी पता नहीं रहता है? हॉस्पिटल का मैन गेट खुला ही रहता है बाकी सभी कमरों पर ताला लगाकर के चले जाते हैं डॉक्टर छुट्टी होने के टाइम पर मैन गेट पर भी ताला लगा करके चले जाते हैं!

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