Neemuchhulchal ✍️✍️ भोपाल। एमपी में 1 अप्रैल से सभी औद्योगिक एवं असंगठित श्रमिकों को 25% से अधिक मजदूरी देने के आदेश जारी किए हैं इस निर्णय के तहत सभी औद्योगिक और असंगठित क्षेत्र से जुड़े ट्रेंड सभी श्रमिकों की मजदूरी में 1 अप्रैल 2024 से बढ़ोतरी की जाएगी एमपी के श्रम मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल ने मजदूरों के हितों के संरक्षण और कल्याण की दिशा में ऐतिहासिक निर्णय लेते हुए 1 अप्रैल से सभी औद्योगिक एवं असंगठित श्रमिकों को 25% अधिक मजदूरी देने के आदेश दिए है. औद्योगिक और असंगठित क्षेत्र से जुड़े ट्रेंड – और ए ट्रेंड सभी मजदूरों के मेहनताने में 1 अप्रैल 2024 से बढ़ोतरी की जाएगी. वर्ष 2014 के बाद प्रदेश में पहली बार मजदूर वेज रिवीजन किया गया है, श्रमिकों के कल्याण की दिशा में यह एक बड़ा क्रांतिकारी फैसला माना जाएगा। श्रम मंत्री ने बताया कि मजदूरी दरों में भी बढ़ोतरी श्रमिकों की जिंदगी में अध्याय का बदलाव लाएगा पीएम नरेंद्र मोदी और mp के cm डॉक्टर मोहन के नेतृत्व में किया जा रहे हैं फैसले मजदूरों के विकास की कड़ी मैं श्रमिकों के उत्थान के लिए यह पहल हुई है और बताया कि श्रम विभाग मजदूरों के कल्याण और सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है और इसी दिशा में कई महत्वपूर्ण फैसला आने वाले समय में लिए जाएंगे , 2014 के बाद हमने पहली बार श्रमिकों का वेज रिवीजन किया है. नाम अनुसार आगे भी करते रहेंगे इस फैसले से विशेष तौर पर महिलाएं श्रमिक को आत्मनिर्भर और सशक्त बनाने में मिल का पत्थर साबित होगा। श्रम मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल ने कहा कि भोपाल जिले में जीवित लोगों के संबल योजना का लाभ देने की जानकारी प्राप्त होने पर उन्हें त्वरित रूप से मामले को संज्ञान में लेते हुए संबंधित अधिकारियों को विरुद्ध कार्रवाई के आदेश दिए थे उन्होंने कहा कि भुगतान की गई राज वसूली के लिए भी उचित कार्रवाई के निर्देश दिए हैं उन्होंने कहा कि गरीबों के हितों के संरक्षण के लिए वे सतत रूप से कार्य करते रहेंगे। *श्रमिकों को मिलेगी महंगाई भत्ता जोड़कर न्यूनतम वेतन* श्रम विभाग से मिली जानकारी के अनुसार श्रमिकों को दे प्रचलित न्यूनतम वेतन की दरों में 25 प्रतिशत के वृद्धि और जनवरी से जून 2019 की औसत अखिल भारतीय उपभोक्ता मूल्य सूचकांक के आधार पर दिनांक एक अक्टूबर 2019 से दे परिवर्तनशील महंगाई भत्ते को न्यूनतम वेतन में जोड़कर नई न्यूनतम वेतन दरों के निर्धारित की गई है। . अखिल भारतीय उपभोक्ता अधिकार मूल सूचकांक 311 पर आधारित का संबंध की गई है नई न्यूनतम वेतन दरो के प्रभावशील होने पर कुशल श्रमिकों को न्यूनतम वेतन 9 हजार 575 रुपए प्रतिमाह दिए जाएंगे। कुशल श्रमिकों के न्यूनतम वेतन 12294 जबकि उच्च कुशल श्रमिकों का न्यूनतम वेतन 13919 रुपए प्रतिमाह होंगे। श्रमिको के वेतन दरें लेबर ब्यूरो शिमला द्वारा निर्मित औद्योगिक श्रमिकों के लिए अखिल भारतीय उपभोक्ता का मूल सूचकांक जनवरी 2019 से जून 2019 के आंकड़ों के औसत पर निर्धारित है। कृषि श्रमिकों को मिलेंगे अब हर महीने 7660 रुपए कृषि श्रमिकों को देय प्रचलित न्यूनतम वेतन दर में 25% की वृद्धि तथा लेबर ब्यूरो शिमला द्वारा निर्मित अखिल भारतीय कृषि श्रमिक उपभोक्ता मूल्य सूचकांक के औसत के आधार पर 1 अक्टूबर 2019 से देय परिवर्तनशील महंगाई भत्ते को न्यूनतम वेतन में जोड़कर निर्धारित होंगी। नई न्यूनतम वेतन दरो के प्रभावशील होने पर श्रमिकों का न्यूनतम वेतन 7660 प्रति माह किया जाएगा बीड़ी श्रमिकों एवं अगरबत्ती श्रमिकों के वेतन में भी दर प्रचलित न्यूनतम वेतन की दरों में 25% की वृद्धि की गई है न्यूनतम वेतन की दरें किसी भी श्रमिक पर प्रतिकूल प्रभाव नहीं डालेंगे. यानी वर्तमान वेतन की दरें संशोधन दरो से अधिक है तो वह किसी भी दशा में कम नहीं होगी जब तक की न्यूनतम वेतन की दरें उसके समकक्ष नहीं की हो जाती।