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जारोली के ताबुत पर क्या चलेगा प्रशासन का डंडा, जल भराव की समस्या जस की तस और बारिश के मोसम की आमद, कई लोगो की जिंदगी खतरे के निशान पर।

कुछ समय पहले दिल्ली के ओल्ड राजेंद्र नगर स्थित एक कोचिंग सेंटर के बेसमेंट में अचानक बारिश का पानी घुस जाने से चार घंटे से अधिक समय तक फंसे रहने से तीन छात्रों की मौत हो गई। वे सभी सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी कर रहे थे। कई छात्र कोचिंग सेंटर की लाइब्रेरी में थे कि अचानक सैलाब सा आया और उसमें तीन छात्रों की तड़पकर मौत हो गई। जिसको लेकर नीमच का प्रशासन भी अलर्ट मोड पर आ गया था और शहर के बीच बाजार में मौजूद जारोली ट्रैड सेंटर की बिल्डिंग को पूरी तरह से खाली करा दिया गया था। यहां मौजूद ऑफिस और दुकानों पर संचालकों ने भी ताले लगा दिए थे।

दरअसल इन दिनों बारिश का मौसम आने वाला है और जिलेभर के साथ ही विभिन्न क्षेत्रों में जलभराव जैसी स्थितियां उत्पन्न हो सकती है। ऐसे में जिला प्रशासन और पुलिस विभाग अलर्ट होते हुए दुर्घटनाओं ना हो इसके प्रयासों में लगे रहते है। प्रशासन ने पहले भी जहा जल भराव की स्थित रहती उन जगहो के मालिक को चेताया था और व्यवस्था सही करने के दिशा निर्देश भी दिए थे। कही कही तो व्यवस्था सुधरी पर जारोली टेªड सेंटर के मालिक के कानो तक जुं तक नही रेंगी, प्रशासन को दिखाने के लिए जारोली के मालिक ने हल्का पुल्का काम करके टेªड को खुलवा दिया था पर जल भराव की मेंन समस्या जस की तस बनी हुई है। इस टेªड सेंटर में कभी भी बडा हादसा हो सकता है। आपको बता दे की इस टेªड सेंटर में कई आफिस, कोचिंग संस्थाए, लाईब्रेरी आदि संचालित होते है जिसमें कई लोगो, स्टुडेंटो का आना जाना लगा रहता है। पर इस टेªड सेंटर के मालिक को इन मासुम जिंदगीयो से कोई लेना देना नही है। उपर वाला ना करे अगर कोई अनहोनी होगी तो कई घरो के चिराग बुझ सकते है और इस टेªड सेंटर के आसपास कई मकान है जिसमें कई परिवार निवास करते है उनके साथ भी बडा हादसा हो सकता है। जिसका जिम्मेदार कोन होगा क्या इस टेªड सेंटर का मालिक जिम्मेदारी लेगा। आखिर क्यो इन मासुमो की किमती जिंदगी के साथ खिलवाड कर रहा है। समय रहते प्रशासन को इस और ध्यान लगाना चाहीए और इस टेªड सेंटर की जल भराव की जो खामिया है सुधार करवाकर कभी भविष्य में होने वाली अनहोनी को रोकना चाहिए।

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